Ye photo hai gujrat ke baroda ke pass karjan ka gaav sansodsan ka yaha police ki taqatt nahi hai jane ki yaha dayli govadh hota hai sarkar ki rahem nazar ke samne kaya hamre shashak ko ye nahi dikhai deta shirf Hinduwad ki baat karne se nahi chalega gomata bachegi to hi hindu bachega hindu bachega to wishw bachega...jay gomata
गो प्रेमी संघ भारत की संस्कृति मूलत: गौ संस्कृति है। भारतीय समाज ने गाय को माँ की संज्ञा से पुकारा है। 'तिलम न धान्यम पशुवः न गावः' तिल धान्य नहीं,गाय पशु नहीं है। गाय के प्रादुर्भाव की कथा समुद्र मंथन से प्रारम्भ होती है। समुद्र मंथन से कामधेनु रुपी पांच गौ माताएं प्रकट हुई - नंदा,सुभद्रा,सुरभि,सुशीला,बहुला इन पांच गौमाताओं की सेवा हेतु पंच ऋषियों ने इन्हें प्राप्त किया- जमदग्नि,भारद्वाज,वशिष्ट,असित,गौतम।
गो प्रेमी संघ
गो प्रेमी संघ
गाय बचेगी, देश बचेगा !
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